मूल्य रहित पुस्तकें >> अमेरिकी यायावर अमेरिकी यायावरयोगेश कुमार दानी
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उत्तर पूर्वी अमेरिका और कैनेडा की रोमांचक सड़क यात्रा की मनोहर कहानी
प्राइसलाइन, एक्सपीडिया, आरबिट्ज, कायक, होटेल्स.काम, ट्रिवागो, ट्रिपवायर आदि
वेबसाइटों पर जाकर होटलों में कमरे देखे, फिर उनके कमरों के विवरण को जानकर यह
सुनिश्चित किया, कि उनमें दो पलंग भी हैं। इन सब वेबसाइटों पर कई घंटों तक
देखने के बाद भी मैं केवल यही समझ पाया कि, जब भी तीन स्टार के होटलों के कमरे
शहरों से थोड़ा दूर अथवा छोटे शहरों के आस-पास मिलते थे, तभी सुविधाओं और दाम
का संगम हो रहा था। मैने तीन दिनों के बाद की तिथि के अनुमान से प्राइसलाइन में
तीन स्टार के होटलों के लिए बोली लगाई। मुझे मेरे मनपसन्द का कमरा 83 डालर में
मिल रहा था, यह कमरा किसी “हालीडे इन एक्सप्रेस”/हिल्टन गार्डन इन” का हो सकता
था। कमरे में दो क्वीन आकार के पलंग थे। लालच में आकर होटल में अन्य कमरों को
देखने लगा रहा, पर उसके बाद सभी होटल 100 डॉलर से अधिक के ही दिख रहे थे। इसलिए
इस विषय में अधिक मेहनत करने का विचार मैंने त्याग दिया। यों भी आगे आने वाले
दिनों में मुझे कई अवसर मिलने वाले थे, जब कि मैं होटल के कमरे को ढ़ूँढ़ने के
काम में अपनी सारी प्रतिभा लगा सकता था!
होटल में कमरा आरक्षित करने का काम पूरा करने के बाद मैंने कैनेडा के दूतावास
की वेबसाइट पर अपना ध्यान लगाया। अगर कैनेडा जाना ही था तब तो यह अत्यंत आवश्यक
था, कि मैं अपने लिए कैनेडा का अस्थायी वीसा लेने की कार्यवाही तुरंत आरंभ कर
दूँ। दूतावास की साइट पर जाकर जब जानकारी पढ़ी, तब तो अपने सारे कार्यक्रम की
योजना ही गड़बड होती नजर आयी। पहली समस्या तो यह थी, कि कैनेडा का दूतावास जो
कि भारतीय पासपोर्टधारियों को वीसा दे सकता है वह इस क्षेत्र में केवल न्यू
यार्क में था, दूसरा ऐसा दूतावास, जिसमें मेरे जैसे भारतीय पासपोर्टधारी
व्यक्ति को वीसा मिल सकता था, इसके अलावा लास एंजेल्स में था, जो कि यहाँ से
काफी दूर अमेरिका के पश्चिमी तट पर स्थित है। दूसरी समस्या यह थी कि आनलाइन
आवेदन करने के बाद वीसा मिलने में कम-से-कम 5-7 दिन लगने वाले थे, इसके अलावा
वीसा की फीस 100 डॉलर थी! इसका मतलब यह हुआ कि मैं अपनी यात्रा तुरंत आरंभ नहीं
कर सकता था। अब यदि मैं अपनी यात्रा देर से आरंभ करता तो मेरे लिए तो समस्या थी
ही, पता नहीं मेरी एन का कार्यक्रम भी आगे कैसा था! इस स्थिति में पता नहीं वह
जा भी पाती या नहीं!
इस उधेड़-बुन में उलझा हुआ मैं सोच ही रहा था कि क्या किया जाये? तभी मेरे मन
में विचार आया कि चलो देखें आनलाइन आवेदन करने पर क्या होता है? आवेदन पत्र पर
जानकारी भरना आरंभ करते ही पहला सवाल यह आया कि, आप ट्रांसिट वीसा चाहते
हैं अथवा अस्थायी वीसा। आगे पढ़ने पर यह जानकारी मिली कि यदि कोई अमेरिका के
लिए वीसाधारी है और उसे कैनेडा में 48 घंटे से कम के समय रुकना है तो केवल
ट्राँसिट वीसा लेकर भी जाया जा सकता है। उसके लिए कोई फीस आदि नहीं है, परंतु
आवेदन करने के बाद न्यू यार्क के दूतावास में ही जाकर ट्रांसिट वीसा लेना होगा।
आप डाक से भी यह सब कर सकते हैं, पर यदि स्वयं जाकर वीसा लेना चाहते हैं तो उस
अवस्था में न्यूयार्क की काउंसलेट अथवा लास एंजेल्स की काउंसलेट में ही जाना
होगा। वाशिंगटन डी.सी. और बास्टन जाने की तो मैं पहले ही सोच चुका था, अब
न्यूयार्क भी मेरी सूची में जुड़ गया। मेरा काम तो 48 घंटे में चल सकता था,
परंतु मेरी एन का कैनेडा घूमने का कार्यक्रम 48 घंटे में पूरा हो पायेगा कि
नहीं इस बात की जानकारी मुझे अभी नहीं थी। इस प्रश्न का उत्तर जानने के लिए
मैने फेशबुक पर फिर से जाकर मेरी एन को संदेश भेजा, परंतु उसका कोई उत्तर नहीं
आया। इस बीच रात के लगभग 11 बज रहे थे। शायद वह सो गई हो। पहले तो मैंने सोचा
कि उससे फेश बुक पर ही फिर से पूछ लूँ कि कैनेडा के बारे में उसका कार्यक्रम
कितना विस्तृत है? पर फिर संकोच में यह सोचकर रुक गया कि अभी उससे परिचय इतना
नहीं बढ़ा है। अंत में मैं इसी निष्कर्ष पर पहुँचा कि यदि उसने फेश बुक पर
उत्तर दे भी दिया तब भी वीसा की समस्या के संबंध में उससे बात करना आमने-सामने
ही ठीक रहेगा।
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