लोगों की राय

कविता संग्रह >> संभाल कर रखना

संभाल कर रखना

राजेन्द्र तिवारी

प्रकाशक : भारतीय साहित्य संग्रह प्रकाशित वर्ष : 2016
पृष्ठ :123
मुखपृष्ठ : ईपुस्तक
पुस्तक क्रमांक : 9720

Like this Hindi book 4 पाठकों को प्रिय

258 पाठक हैं

मन को छूने वाली ग़ज़लों का संग्रह



65

जब से ख़ेमों में बँट गईं ग़ज़लें


जब से ख़ेमों में बँट गईं ग़ज़लें।
अपने मक़सद से हट गईं ग़ज़लें।।

क़द हमारे बड़े हुए लेकिन,
दायरों में सिमट गईं ग़ज़लें।

मेरे माज़ी के ख़ुशनुमा पन्ने,
जाने क्यों फिर उलट गईं ग़ज़लें।

जो मेरा नाम तक न लेते थे,
उन रक़ीबों को रट गईं ग़ज़लें।

मुझको देखा, अगर उदास कभी,
मुझसे आकर लिपट गईं ग़ज़लें।

...Prev | Next...

<< पिछला पृष्ठ प्रथम पृष्ठ अगला पृष्ठ >>

लोगों की राय

Abhilash Trivedi

लाजवाब कविताएँ!