शब्द का अर्थ
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पनह :
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स्त्री०=पनाह (शरण)।(यह शब्द केवल स्थानिक रूप में प्रयुक्त हुआ है) |
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समानार्थी शब्द-
उपलब्ध नहीं |
पनहड़ा :
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पुं० [हिं० पान+हाँड़ी] वह पात्र जिसमें तमोली पान आदि धोने के लिए पानी रखते हैं। |
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समानार्थी शब्द-
उपलब्ध नहीं |
पनहरा :
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पुं० [हिं० पानी+हरा (प्रत्य०)] [स्त्री० पनहारन, पनहारिन] १. वह व्यक्ति जो दूसरों के यहाँ पानी भरता हो और इस प्रकार प्राप्त होनेवाले पारिश्रमिक से अपनी जीविका चलाता हो। पन-भरा। २. वह पात्र जिसमें सोनार गहने धोने आदि के लिए पानी रखते हैं। |
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समानार्थी शब्द-
उपलब्ध नहीं |
पनहा :
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पुं० [सं० परिणाह=विस्तार, चौड़ाई] १. कपड़े, दीवार आदि की चौड़ाई। अरज। २. गूढ़ आशय। तात्पर्य। मर्म। भेद। पुं० [सं० पण=रुपया-पैसा+हार] १. चोरी का पता लगानेवाला। २. वह पुरस्कार जो चुराई हुई वस्तु लौटा या दिला देने के लिए दिया जाय। स्त्री०=पनाह।(यह शब्द केवल स्थानिक रूप में प्रयुक्त हुआ है) |
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समानार्थी शब्द-
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पनहारा :
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पुं०=पनहरा। |
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समानार्थी शब्द-
उपलब्ध नहीं |
पनहिया :
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स्त्री०=पनही।(यह शब्द केवल स्थानिक रूप में प्रयुक्त हुआ है) |
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समानार्थी शब्द-
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पनहिया-भद्र :
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पुं० [हिं० पनही+भद्र=मुंडन] सिर पर इतने जूते पड़ना कि बाल उड़ जायँ। जूतों की मार। |
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समानार्थी शब्द-
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पनही :
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स्त्री० [सं० उपानह] जूता। |
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समानार्थी शब्द-
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